एक सज्जन ने मुझे लताड़ा है कि मैंने विवाहिता के लिए भी सुश्री का संबोधन दिया है जो कि गलत है! सुश्री का संबोधन केवल अविवाहिता के लिए ही होना चाहिए! यह मामला अब मैं ब्लॉग जगत की महापंचायत में रख रहा हूँ -अपनी समझ बुद्धि के अनुसार मैंने उन्हें यूं समझाया है -
"मैं समझता हूँ कि सुश्री चूंकि वैवाहिक स्थिति को नहीं दर्शाता इसलिए आधुनिक रीति रिवाज में यह विवाहित महिलाओं के लिए भी प्रयुक्त होता है -अंगरेजी में भी इसका समानार्थी ms है जिसका उच्चारण मिज़ है -या यूं कहिये कि ms की प्रतिपूर्ति हिन्दी मे सुश्री के रूप में हुई -अंग्रेजी में Mrs .(मिसेज ) कहना अब पिछड़ापन माना जाता है -अंगरेजी पत्र पत्रिकाओं में ज्यादातर ms शब्द का प्रयोग होता है .....मगर फिर भी यह अपने अपने विवेक और पसंद पर है कि आप विवाहित महिला को मिज कहते हैं मिसेज !"
क्या कहते हैं प्रबुद्धजन ,शिष्टाचार नियामक और पंच लोग ?
जीवन शैली ...आचार व्यवहार
Alarma sobre creciente riesgo de cyber ataque por parte del Estado Islámico
-
Un creciente grupo de hacktivistas está ayudando Estado Islámico difundir
su mensaje al atacar las organizaciones de medios y sitios web, una empresa
de se...
9 वर्ष पहले
जिन सज्जन ने आप को लताड़ा,आप उन्हें लताड़ दीजिए। आखिर रीति रिवाज कौन बनाता है। जब पीढ़ियाँ किसी रीति का अनुसरण करने लगती हैं तो रिवाज बन जाता है। रिवाज पुराने हो कर विलुप्त भी होते हैं और उन के स्थान पर नए आ जाते हैं।
जवाब देंहटाएंसुश्री का किसी भी महिला के लिए प्रयोग किया जा सकता है। अविवाहित के लिए तो कुमारी ही कहा जाता है। श्रीमती शब्द तो किसी स्त्री की वैवाहिक पहचान बताता है लेकिन साथ ही साथ स्त्री पर पुरुष अधीनता का भाव भी लाता है। इस लिए एक दिन इस का विलोप तो होना ही है।
विल्सन के साथ सात सालों से रिश्ते में होने के बाद, मैंने सबकुछ संभव किया, मैं उसे हर तरह से प्राप्त करना चाहता था, मैंने वादे किए कि मैंने ऑनलाइन किसी को अपनी समस्या समझाई और उसने सुझाव दिया कि मुझे एक जादू कैस्टर से संपर्क करना चाहिए जो मुझे एक कास्ट करने में मदद कर सकता है मेरे लिए जादू करो, लेकिन मैं वह प्रकार हूं जो जादू में विश्वास नहीं करता था, मेरे पास कोशिश करने से कोई विकल्प नहीं था, मेरा मतलब है कि डॉ। अखेर नामक एक जादू कास्टर और मैंने उसे ईमेल किया, और उसने मुझे बताया कि कोई समस्या नहीं है कि सब कुछ ठीक रहेगा तीन दिन पहले, कि मेरा पूर्व तीन दिनों से पहले मेरे पास वापस आ जाएगा, उसने दूसरे दिन में जादू और आश्चर्यजनक रूप से डाला, यह लगभग 4 बजे था, मुझे बहुत पहले आश्चर्य हुआ, मैं बहुत हैरान था, मैंने फोन का जवाब दिया और उसने कहा कि वह जो कुछ हुआ उसके लिए खेद है, कि वह मुझे इतना प्यार करता है। मैं बहुत खुश था और तब से उसके पास गया, मैंने वादा किया है कि किसी को पता है कि रिश्ते की समस्या है, मैं उसे एकमात्र असली और शक्तिशाली जादू कैस्टर बनने में मदद करना चाहता हूं जिसने मुझे अपनी समस्या से मदद की और कौन है वहां सभी नकली लोगों से अलग किसी को भी जादू कैस्टर की मदद की आवश्यकता हो सकती है, उसका ईमेल: AKHERETEMPLE@gmail.com
हटाएंया
कॉल / व्हाट्सएप: +2349057261346 अगर आपको अपने रिश्ते या कुछ भी मदद की ज़रूरत है तो आप उसे ईमेल कर सकते हैं। अब तक अपनी सभी समस्याओं के समाधान के लिए संपर्क करें
AKHERETEMPLE@gmail.com
या
कॉल / व्हाट्सएप: +2349057261346
वैसे इस विषय पर भाषाविद ही सही जानकारी दे पाएंगे .. पर हिन्दी में सुश्री शब्द कुंवारियों के लिए ही प्रयुक्त किया जाता था .. पर ब्लॉग जगत में आने के बाद ही मैं विवाहितों के नाम के आगे सुश्री का प्रयोग देख रही हूं .. इसमें कोई दिक्कत मुझे भी नहीं दिखती !!
जवाब देंहटाएंmiss s. puri .... bilkul santoshjanak javab hai aapka
हटाएंमेरी समझ से भी Ms का हिन्दी Equivalent सुश्री ही है.
जवाब देंहटाएंजब यह ज्ञात न हो कि संबोधित वाली स्त्री विवाहिता है या नहीं, तो सुश्री का प्रयोग श्रेयकर एवं उचित माना गया है.
और यदि यह जानकारी हो कि वह विवाहिता है तो....
हटाएंमिश्रा जी, मेरी जानकारी के अनुसार अविवाहिता के नाम के पूर्व कुमारी और विवाहिता के नाम के पूर्व श्रीमती ही लगाया जाता है।
जवाब देंहटाएंसुश्री शब्द का प्रयोग पिछले कुछ ही वर्षों से आरम्भ हुआ है। इस शब्द को सबसे पहले किसने और क्यों प्रयोग किया यह तो मुझे पता नहीं किन्तु ऐसा लगता है कि जिस किसी ने भी इसका प्रयोग किया होगा अवश्य ही उसका मन्तव्य अपनी वैवाहिक पहचान को छुपाना रहा होगा।
विवाहिता को सुश्री कहने पर तो अजित वडनेरकर जी जैसे विद्वान ही प्रकाश डाल सकते हैं...मैं तो एक कुंवर साहब की बात बता सकता हूं...कुंवर साहब पहली बार ससुराल गए...वहां सबने कहा...आइए कुंवर साहब, आइए कुंवर साहब... कुंवर जी भड़क गए...बोले...हमें कुंवर नहीं सुंवर साहब कहा जाए...
जवाब देंहटाएंदरअसल कुंवर साहब ने एक दिन पहले ही पाठ पड़ा था कि सु से शुरू होने वाले शब्द अच्छे होते हैं और कु से शुरू होने वाले बुरे...जैसे सुपुत्र-कुपुत्र,
सुयोग्य-कुयोग्य, सुपात्र-कुपात्र...
जय हिंद...
सुश्री कहने में कोई बुराई नहीं है..... यह किसी के लिए भी उसे किया जा सकता है....... चाहे विवाहित हो या अविवाहित.....
जवाब देंहटाएंMs या Mrs. फ्रेंच के Monsieur शब्द से निकला है.... जिसका मतलब अभिवादन स्वरुप मेल और फीमेल दोनों के लिए किया जाता है.... मेल के लिए इसको शोर्ट में Mr. लिखा जाता है.... और फीमेल के लिए Monsieur का स्त्रीलिंग Messieurs का प्रयोग किया जाता है ... जिसको शोर्ट में Ms. या Mrs. लिखा जाता है. इन दोनों शब्दों का विवाहित होने से कोई लेना देना नहीं है..... यह दोनों एक ही शब्द हैं.... हाँ! यह है कि भारत में जो अंग्रेजी बोली जाती है.... उसमें इसे सुविधानुसार चेंज कर लिया गया है.... अन्यथा इसका कोई मतलब नहीं है..... इसीलिए सुश्री कहने में कोई बुराई नहीं है.....
सुश्री कहने में कोई बुराई नहीं है..... यह किसी के लिए भी उसे किया जा सकता है....... चाहे विवाहित हो या अविवाहित.....
जवाब देंहटाएंMs या Mrs. फ्रेंच के monsieur शब्द से निकला है.... जिसका मतलब अभिवादन स्वरुप मेल और फीमेल दोनों के लिए किया जाता है.... मेल के लिए इसको शोर्ट में Mr. लिखा जाता है.... और फीमेल के लिए Monsieur का स्त्रीलिंग messieurs का प्रयोग किया जाता है ... जिसको शोर्ट में Ms. या Mrs. लिखा जाता है. इन दोनों शब्दों का विवाहित होने से कोई लेना देना नहीं है..... यह दोनों एक ही शब्द हैं.... हाँ! यह है कि भारत में जो अंग्रेजी बोली जाती है.... उसमें इसे सुविधानुसार चेंज कर लिया गया है.... अन्यथा इसका कोई मतलब नहीं है..... इसीलिए सुश्री कहने में कोई बुराई नहीं है.....
अरविन्द जी, आपकी सराहना करूंगा कि आपने एक बारीक मुद्दा उठाया और साथ में उन सज्जन की भी जिन्होंने आपको लताड़ा! एक बात और कहूंगा कि टिप्पणीकार के रूप में विशिष्ठ विद्वानों के विचार निराशाजनक लगे ! हो सकता है यहाँ मेरी बात आप लोगो को हास्यास्पद लगे, क्योंकि घूम फिर कर बात वही आ जाती है कि पुरुष प्रधान समाज ने आदिकाल से अब तक ये सारे शब्दावली अपने को केन्द्रित कर बनाए लेकिन जब आपने सवाल उठाया है और यह सब हमारे समाज में मौजूद है तो थोड़ी सी अपनी भी छोड़ना चाहूंगा ! वे सज्जान एकदन सही थे ! "सुश्री" शब्द कंवारे कन्या/स्त्री के लिए ही इस्तेमाल किया जाता है जिसमे 'सु' का अर्थ हिन्दी में होता है "स्वच्छ" ! इसकी ब्याख्या नहीं करूंगा, क्योंकि आप सभी बुद्धिजीवी वर्ग के लोग है और इतने से ही खूब समझ सकते है! साथ ही आप लोग यह भी खूब समझते होंगे कि 'श्री' शब्द पुरुष जाति का द्योतक है तो पूरा अर्थ निकला 'पुरुष से स्वच्छ स्त्री' यानी "सुश्री" ! अब मजे के लिए यह भी छोडता चलूँ कि श्रीमती का फिर क्या अर्थ हुआ ! जब "श्रीमान" जी शादी शुदा हो जाते है तो उनकी "मति " किसी और के अधीन हो जाती है इसलिए ....:)
जवाब देंहटाएंभाई साहब प्रणाम ...
जवाब देंहटाएंअब क्या कहू आप तो समझ ही रहे है अब ओ मुह बजा बजा कर भी थक गए है अनूप जी ...जिस रचना जी के बारे में इन्होने ऐसा लिखा वही एक अत्यंत ही पूज्यनीय ( हमारे लिए ) रचना जी ने यहाँ आकर उनकी बात काट दी ..अब क्या बचा है उनके अन्दर ?
आपको सनद होगा जब आपने कुश के बारे में लिखी था तब भी यही श्री मान जी ने आपकी मट्टी पलीद करने की कोशीश की थी ...रचना जी को बुत बहुत धन्यवाद स्थिती साफ़ करने के लिए और आपको बहुत बहुत धन्यवाद ऐसे सुन्दर शब्दों के साथ चर्चा लेखनी करने केलिए
आपको लताडने वाला बहुत शरीफ़ आदमी लगता है. उनके मुंह मे घी शक्कर, और अगर उन्हे मधुमेह हो तो सुगरफ़्री.:) क्योंकि उसी बहाने एक रोचक बहस पढने को मिलेगी.
जवाब देंहटाएंहमारा मत आपने मांगा है तो अवश्य देंगे. लिजिये!
असल मे हम स्वयम इस शब्द का उपयोग बहुत ही व्यापक रुप मे करते आये हैं और चंद कुंठित और लुंठित लोगों ने दबे छुपे इस बात को लेकर हम पर कटाक्ष भी किये हैं. तो आज उनको भी जवाब मिल जायेगा.
देखिये यह शब्द सुश्री कई तरह की परेशानियों से बचाता है. चूम्की उपर सुश्री संगीता जी कमेंट करके गई हैं तो मैं क्षमापुर्वक उनका ही नाम उदाहरण स्वरूप प्रयोग करना चाहुंगा.
अब देखिये इस शब्द के फ़ायदे क्या हैं और मैं क्यों इसे प्रयोग करने मे आसानी महसूस करता हूं.
अब मान लिजिये मुझे सुश्री संगीता जी को संबोधित करना है तो ..अगर मैं सीधे संगीता कहूं तो यह असभ्यता होगी..और उनकी वैवाहिक स्थिति मुझे मालुम नही तो मेरे सामने सिर्फ़ यही रास्ता बचता है कि मैं उन्हें संगीता कहूं..अब इसके अलावा कुमारी या श्रीमती लगाना निरी मुर्खता होगी..बलकि किसी भी दृष्टि से उचित नही होगा.
ऐसे मे सुश्री शब्द कितना सूम्दरता से अपना कमाल दिखाता है? आप स्वयम महसूस किजिये.
इसमे मेरे हिसाब से कोई बुराई नही है...बलिकि बहुत सी परेशानियों को दूर करने वाला शब्द है, अत: सभी को इसका बहुतायत से प्रयोग करना चाहिये.
रामराम.
मैं तो सुविधा की दृष्टि से इसे ही प्रयोग में लाता हूँ, क्योंकि कुंवारी स्त्री को श्रीमती कहने का जोखिम नहीं उठाना चाहता।
जवाब देंहटाएं--------
महफ़ज़ भाई आखिर क्यों न हों एक्सों...?
जिसपर है दुनिया को नाज़, उसका जन्मदिवस है आज।
चलिये आप मुझे सुश्री कह लें। मैं कुछ नहीं कहूँगी। धन्यवाद्
जवाब देंहटाएंपिता श्री , माता श्री , भ्राता श्री , दीदी श्री , जीजा श्री इत्यादि शब्दों के विषय मे भी कुछ बताये । !!!
जवाब देंहटाएंश्री , श्रीमान , श्रीमती , सुश्री इत्यादि का क्या हैं ???? श्री के आगे सु लगाने से वो स्त्री सूचक क्यूँ हैं जबकि श्री शब्द माता पिता भ्राता दीदी जीजा दादी दादा इत्यादि सबके लिये सम्मान सूचक हैं ??? इस पोस्ट को कहीं विस्तार से संवाद के लिये दुबारा लगाया जाए और बताया जाया शब्दों का लएंगीकरण किस आधार पर हुआ हैं और किस व्यवस्था के तह्त
सुश्री का शब्द हिन्दी में वैसे ही किया जा सकता है जैसे अंग्रेजी में Ms. (कृपया वर्तनी देखें यह Ms नहीं है पर Ms. है)। यह कुमारी, विवाहितों एवं तकाकशुदा के लिये प्रयोग किया जा सकता है।
जवाब देंहटाएंजहां तक मुझे मालुम है यह शब्द Ms. से बहुत पहले आया। शायद यह कहना उचित होगा कि कि सुश्री शब्द की प्रतिपूर्ति अंग्रेजी में Ms. के रूप में हुई
अजीत जी सही बता सकते हैं ... आज कल तो सब नाम से काम चला लेते हैं ..सबको अपनी पसंद है ..
जवाब देंहटाएंपहले स्पष्ट कीजिए कि सच्ची में ही किसी सज्जन ने ही लताड़ा है ना?
जवाब देंहटाएंमुझे तो लगता है कि किसी सुश्री ने ...
:-)
@पञ्चगण ,
जवाब देंहटाएंअच्छा मंथन चल रहा है -कुछ चुहलबाजी भी!एक बात और ध्यान देने वाली है की श्री संबोधन अनिवार्यतः पुल्लिंग नहीं है -लक्ष्मी को श्री संबोधन मिला हुआ है !
श्री रम्भा विष वारुनी .......
कोई भाषाविद या संस्कृत के जानकार मार्गदर्शन करेगें क्या ?
अब तो आप बेखटके लताड़ दीजिए- द्विवेदी जी हैं ना... अब तो हड़ताल भी खतम हो चुकी है :)
जवाब देंहटाएंagree with G K AWADHIYA
जवाब देंहटाएंऐसा लगता है कि जिस किसी ने भी इसका प्रयोग किया होगा अवश्य ही उसका मन्तव्य अपनी वैवाहिक पहचान को छुपाना रहा होगा।
अरे मैडम कहिये. एके लउरी हांकना जानते हैं न?
जवाब देंहटाएंजो थोड़ी बहुत जानकारी है भाषा की ...उसके अनुसार अब तक गैर विवाहिता स्त्री के लिए ही सुश्री का प्रयोग किया जाता रहा है ....
जवाब देंहटाएंवैसे सिर्फ नाम से संबोधित कर के भी तो इस पचड़े से बचा जा सकता है ....
@cmpershad ...
जवाब देंहटाएंअरे, अभी हड़ताल जारी है। बस समापन की तैयारी कर रहै हैं पर लगता है साल पहले बीत जाएगा।
१. सुश्री के प्रयोग की जो ज़रुरत आपने बताई वह सही नहीं है. श्रीमती (तमिल में तिरुमदी) शब्द पुरुषों के श्री का समानार्थी है और सभी महिलाओं के लिए प्रयुक्त होता रहा है. मुझे याद आया जब केनरा बैंक के आधिकारिक पत्राचार में कुछ उत्तर भारतीय युवतियां श्रीमती शब्द से भड़क गयी थीं मगर जब जब शब्द का अर्थ उन्हें समझाया गया तो बात उनकी समझ में आ गयी.
जवाब देंहटाएं२. शब्दों के मूल अर्थ कुछ भी हों, जब एक बार रूढी हो जाती है, भिन्न अर्थ अजीब ही लगता है. उत्तर भारत में रहते हुए और हिन्दी वर्तते हुए जो लोग सुश्री का प्रयोग अविवाहित स्त्रियों के लिए ही होते देखते आये हैं, उन्हें सुश्री के इस भिन्न प्रयोग पर अचकचाना उतना ही स्वाबाविक है जितना कि पिछले उदाहरण की लड़कियों का श्रीमती के प्रयोग पर.
३. हिन्दी की सामान्य परम्परा के हिसाब से आपका प्रयोग गलत था, इसमें शक नहीं है.
४. वाणी गीत का सुझाव श्रेयस्कर है, सिर्फ नाम के प्रयोग में क्या बुराई है?
शब्दकोष में 'सुश्री' का अर्थ
जवाब देंहटाएंस्पष्ट दिया हुआ है --
बहुत सुंदर । शोभायुक्त । स्त्रियों के नाम के पूर्व आदरार्थ प्रयुक्त । सुशोभना स्त्री
विवाहित और अविबाहित का यहाँ
प्रश्न ही कहाँ उठता है ?
मिसिर जी !
जवाब देंहटाएंहम आपके साथ अहन , चूँकि बात कै तुक आपके साथ अहै ..
'' 'सुश्री' शब्द , विशिष्ट स्त्री आदरसूचक शब्द है जो स्त्रियों के नाम
के पूर्व लगाया जाता है '' , ऐसा उद्भट विद्वान आचार्य राम चन्द्र शुक्ल
ने अपने 'संक्षिप्त हिन्दी शब्द सागर' में लिखा है |
अतः इस रस्साकाशी का कोई अर्थ नहीं रहा कि स्त्री की विवाह पूर्व की ( या जैसी ) सुचिता
का संकेत है सुश्री ... शुद्धतावाद का दुराग्रह है , यह |
हाँ , माया , ममता , जयललिता आदि के साथ सुश्री प्रयोग लोगों के दिमाग में
बस गया है और सोच - खोज की जहमत उठाना नहीं चाहते , बेचारे ! :)
@ महफूज़ अली
साहब !
आप तो संस्कार पर काफी जानते है और लिखते है तो 'सुश्री' के शाब्दिक-अर्थ-संस्कार
को ढूंढने कहाँ फ़्रांस , अमेरिका घूमने लगे ! अपनी जमीन पर्याप्त थी , कम से कम इसके लिए |
@ पी.सी.गोदियाल
साहब !
संस्कृत का एक प्रत्यय है 'मतुप्' है जिससे मान , मती और मंत से युक्त शाब्दिक संरचना बनती है |
.
.
आगे '' मुक्ति जी '' मार्गदर्शन कराएँ तो और अच्छा लगेगा ...
यहाँ ब्लागजगत में आकर जब हमने प्रत्येक नारी के लिए सुश्री का संबोधन होते देखा तो यही विचार हमारे मन में भी आया था...किन्तु फिर ये सोचकर चुप रह गये कि हो सकता है कि शायद यहाँ कुछ ऎसी ही परम्परा हो.....इस विषय में एक आधी अधूरी लिखी हुई एक पोस्ट अभी भी हमारे पास ड्राफ्ट में संचित है ।
जवाब देंहटाएंभाई, शोर्ट कट का जमाना है। एक ही विशेषण से संबोधित करने में भला बुराई भी क्या है।
जवाब देंहटाएंमै भी गुरू श्री द्विवेदी जी से सहमत हूँ - जिन सज्जन ने आप को लताड़ा, आप उन्हें लताड़ दीजिए।
जवाब देंहटाएंपाबला जी अगर पुरूषो के आगे भी सुश्री लगे तो क्या बुरा है ? तो चाहे पुरूष लताड़े या स्त्री होगे सुश्री ही
अब तो cmpershad के अनुसार लताड़े वाले को सामने आ जाना चाहिये, अन्यथा ममला द्विवेदी जी के पास चला गया है और हड़लात भी खत्म हो चुकी है।
मै गोदियाल साहब से सहमत हूँ, उनके तर्क प्रभावी है।
पंच लोग निर्णय तो अब कर ही दो, कि किस किस के अगे सुश्री लगाया जाये। :)
सुश्री का संबोधन 'सज्जन' को बुरा लगा ?
जवाब देंहटाएंअरे भाई जब पुरुषों को विवाहित / अविवाहित गुणों की वज़ह से नहीं चीन्हते तो स्त्रियों पर इतना बवाल क्यों ?
वैसे हमें गलत नहीं लगा जिन्हें बुरा लग रहा है उन्हें मत कहिये और.....मिसिर जी ,
श्री रम्भा विष वारुनी की अच्छी याद दिलाये, आपकी भाभी ,यानि की हमारी बेगम सुश्री अली पूछ रही है की हमारी भाभी श्री ........ अर्थात .....मिश्राइन भौजी कैसी हैं ?
प्रयोग में क्या चलता है ये तो सभी को पता है । असलियत क्या है यह एक शोध का विषय है ।
जवाब देंहटाएंपंचायत में आकर ज्ञान तो प्राप्त हुआ लेकिन अंतिम निष्कर्ष ?
जवाब देंहटाएंशायद एक अगली पोस्ट इसका निवारण कर सके !
@विषय की निष्पत्ति तक पहुँचने के लिए फिर एक विनम्र हस्तक्षेप!बहुत सुन्दर विवेचन चल रहा है !
जवाब देंहटाएं* पुरुष शादी शुदा हो या अविवाहित केवल श्री से संबोधित होता है !
* श्री का अर्थ लक्ष्मी भी है जो वस्तुतः समृद्धि की परिचयाक है ! तत्वतः श्रीमती एवं सुश्री के एक ही अर्थ होने चाहिए जो समृद्धि सूचक है ! इसलिए ही गृहणियों को घर की 'लक्ष्मी ' समझा जाता है .
* अब चूंकि पुरुष के लिए बिना उसकी वैवाहिक स्थिति का विभेद किये मात्र श्री शब्द व्यवहृत है इसलिए महिलाओं के लिए भी इसी के समकक्ष केवल सुश्री शब्द की इन्गिति अधिक उपयुक्त ,तार्किक और शिष्टता का तकाजा भी है !
@और एक बात ..जो नारियां लॉन्ग टर्म अविवाहिता हैं -स्पिन्स्टर्स ,उनके लिए कुमारी कहना भी कदाचित उचित नहीं -उन्हें भी सुश्री का संबोधन देना शालीनता का तकाजा है !
जवाब देंहटाएंमुझे हिंदी की एक महिला विशेषग्य ने बताया है की सुश्री का प्रयोग विवाहित व अविवाहित दोनों महिलाओं के लिए किया जाता है.
जवाब देंहटाएंमेरा उपर वाला कमेन्ट इस पोस्ट के लिये नही था गलती से छप गया ....यह कमेन्ट आपके इस पोस्ट के लिये था ...और हा मै यहा क्या बोलू आप सब विद्वान है जो कह देगे वही माना जायेगा
जवाब देंहटाएंअजित जी ने इस विषय पर पहले ही अपना लेख लिख दिया था. कृपया यह पढ़ें::
जवाब देंहटाएंशब्दों के ज़रिए एक स्त्री विमर्श यह भी...
सुश्री तो ठीक है
जवाब देंहटाएंश्रीमती भी ठीक है
श्री तो है ही ठीक
गलत कुछ भी नहीं
मन ठीक होना चाहिए।
अरविन्द जी,
जवाब देंहटाएंअमरेन्द्र जी का कहना बिल्कुल सही है कि सुश्री शब्द विवाहित और अविवाहित दोनों स्त्रियों के लिये प्रयुक्त हो सकता है. वस्तुतः सुश्री शब्द हिन्दी का है. संस्कृत में सभी स्त्रियों के लिये "श्रीमती" शब्द का ही प्रयोग होता है. चूँकि यह शब्द हिन्दी में विवाहित महिलाओं के लिये रूढ़ हो गया और नारीवादी आन्दोलन के द्वारा जेन्डर न्यूट्रल भाषा के प्रयोग पर ज़ोर दिया जाने लगा. अतः सुश्री शब्द का प्रचलन पिछले कुछ दिनों से बढ़ गया है. संस्कृत का मूल शब्द "श्री" है, जो स्त्रीलिंग है तथा कई अर्थों में प्रयुक्त होता है.
अपि च, मैं सुश्री शब्द के प्रयोग के विषय में आपके मत से पूर्णतः सहमत हूँ.
जवाब देंहटाएंहमारे राम भरोसे को तो लगता है कि यह ससुरी का अपभृंश है
जवाब देंहटाएंअजी जिस ने भी आप को लतांडा वो शायद ससुरी समझा हो, सुश्री की जगह, आगे मुझे पी.सी.गोदियाल जी की बात बिअल्कुल सही लगी, सुश्री शव्द सम्मान जनक ही है
जवाब देंहटाएंसुश्री पाबला जी से असहमत।
जवाब देंहटाएं@ प्रकाश जी ने कहा कि सुश्री यानि सुशोभना स्त्री। अरे भाई स्त्री मायने विवाहिता फिर तो सुश्री विवाहिता के लिये ही हुआ ना। घूम-फिर कर वही आ गये।
अर्विंद जी आप का मेल पता मेरे पास नही था, इस लिये टिपण्णी मै आप को आप के जन्म दिन की बधाई देता हू,
जवाब देंहटाएं@स्मार्ट इंडियन जी ,इस लिंक के लिए बहुत आभार ,साथ में उन्मुक्त जी की टिप्पणी भी बेजोड़ है!
जवाब देंहटाएंMs. ब्राण्ड एक सिगरेट चली थी मेहरारुओं की। अब सुश्री ब्राण्ड बन सकती है! :)
जवाब देंहटाएंWhat is the name of the 'Hindi-Font' that you are using in this blog?
जवाब देंहटाएंWhere can I download it from ?
Sushil Rathi
+91 94227 48555
@Sam,
जवाब देंहटाएंPlease go to this link-
http://www.google.com/transliterate/indic
Its google indic transliteration tool -type in Roman and it will instantly be converted in Hindi.
विवेचना निष्कर्ष :
जवाब देंहटाएंसुश्री शब्द विवाहिता और अविवाहिता दोनों के लिए प्रयुक्त किया जा सकता है .
अब मिश्रजी का फ़ैसला आगया है. इसलिये अब चिंता की कोई बात नही है.
जवाब देंहटाएंरामराम
कमाल का टापिक उठाया है मिश्रजी और खूब अच्छा संवाद चला है टिप्पणियों में। ये हुई न एक सार्थक ब्लौगिंग।
जवाब देंहटाएंउलझन तो थी इस बाबत हमारे भी मन में। इस पोस्ट के जरिये दूर हुई ये उलझान।
ब्लाग जगत की इस महा पन्चायत मे चल रही बहस ने यह प्रमाणित कर दिया है कि आदरणीय अर्विन्द जी ने गलत कुछ भी नहीं कहा है ।बे वजह टाग खीचने के आदती हो चुके महानुभावो को कम से कम अब तो सुधर जाना चाहिए ।
जवाब देंहटाएंआपको जन्मदिन की बहुत बहुत बधाई
जवाब देंहटाएंजन्म दिन की हार्दिक शुभकामनाएं....!
जवाब देंहटाएं--
शुभेच्छु
प्रबल प्रताप सिंह
कानपुर - 208005
उत्तर प्रदेश, भारत
मो. नं. - + 91 9451020135
ईमेल-
ppsingh81@gmail.com
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ppsingh07@yahoo.com
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ब्लॉग - कृपया यहाँ भी पधारें...
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मैं यहाँ पर भी उपलब्ध हूँ.
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http://www.rupeemail.in/rupeemail/invite.do?in=NTEwNjgxJSMldWp4NzFwSDROdkZYR1F0SVVSRFNUMDVsdw==
जन्म दिन की हार्दिक शुभकामनाएं.
जवाब देंहटाएंरिकार्ड बन गया टिप्पणियों का।
जवाब देंहटाएंबधाई टिप्पणियों की और जन्मदिवस की भी।
------------------
जल में रह कर भी बेचारा प्यासा सा रह जाता है।
जिसपर हमको है नाज़, उसका जन्मदिवस है आज।
जैसा कि खुशदीप सहगल जी अपनी टिपण्णी में कह चुके हैं 'सुश्री' के प्रयोग के औचित्य की विवेचना करने के लिए श्री अजित वडनेरकर अधिकारी व्यक्ति हैं. लेकिन सभी टिप्पणियों को पढ़ने के बाद और स्वयम के सामान्य ज्ञान से भी आपकी विवेचना सार्थक लगी -
जवाब देंहटाएंविवेचना निष्कर्ष :
सुश्री शब्द विवाहिता और अविवाहिता दोनों के लिए प्रयुक्त किया जा सकता है .
इस सार्थक बहस के लिए साधुवाद.
जन्म दिन की हार्दिक शुभकामनाएं.
जवाब देंहटाएंभागते भागते आ रहा हूँ। केवल २२ मिनट बचे हैं तारीख बदलने में। हैप्पी बड्डे सपरिवार बोल रहा हूँ।
कवि सम्मेलन में गया था। अशोक चक्रधर आये थे। बहुत आनन्द आया।
अरविन्द जी , जन्मदिन की बधाई और हार्दिक शुभकामनाएं.!
जवाब देंहटाएंअच्छा रहा। तिब्बती बौद्धों का हाथ चमका चमका कर कूद फाँद करते हुए तर्क वितर्क करना याद आ गया।
जवाब देंहटाएं..कहीं दूसरी 'रंड़हो पुतहो' वाली जगह हाथ चमकाने वाला देहाती हिसाब किताब भी चल रहा होगा। ;)
हम तो निपट अनाड़ी, विज्ञ परिषद जो निर्णय दे दे मान लेंगे तब तक बस नाम से काम चला लेंगे। एकदम सेफ ऑप्सन! प्रगतिशील भी।
...
बाद में आने का फायदा होता है - ऐसे वचन निकल ही आते हैं ;)
लगता है श्रीमती रचना का सवाल कहीं खो गया
जवाब देंहटाएं"जब कि किसी प्रौढ़ या वयस्क पुरुष के नामोल्लेख में श्रीमान, श्रीयुत, श्रीमंत या श्री आदि कुछ भी लगाइये तब भी यह पता लगाना असंभव है कि मान्यवर की वैवाहिक स्थिति क्या है। किसे धोखा दे चुके हैं, किसे जला चुके हैं, किसे भगा चुके हैं, किससे बलात्कार कर चुके हैं....कुछ भी तो पता नहीं चलता। फिर श्रीमती के लिए आग्रह क्यों ?"
जवाब देंहटाएंउपरोक्त कथन यहाँ से
सुश्री की जोड़ी तो सुश्रा से बनेगी
जहां तक मैं समझता हूं सुश्री विवाहित,तलाकशुदा, कुमारी सब तरह की महिलाओंं के लिये प्रयुक्त किया जा सकता है। अंग्रेजी में इसका पर्यायवाची शब्द Ms. मिज़ है। लेकिन सुश्री शब्द पहले आया तथा अमग्रेजी का शब्द Ms. बाद में।
जवाब देंहटाएंKya kunwar se pahle shri lagega
जवाब देंहटाएंविल्सन के साथ सात सालों से रिश्ते में होने के बाद, मैंने सबकुछ संभव किया, मैं उसे हर तरह से प्राप्त करना चाहता था, मैंने वादे किए कि मैंने ऑनलाइन किसी को अपनी समस्या समझाई और उसने सुझाव दिया कि मुझे एक जादू कैस्टर से संपर्क करना चाहिए जो मुझे एक कास्ट करने में मदद कर सकता है मेरे लिए जादू करो, लेकिन मैं वह प्रकार हूं जो जादू में विश्वास नहीं करता था, मेरे पास कोशिश करने से कोई विकल्प नहीं था, मेरा मतलब है कि डॉ। अखेर नामक एक जादू कास्टर और मैंने उसे ईमेल किया, और उसने मुझे बताया कि कोई समस्या नहीं है कि सब कुछ ठीक रहेगा तीन दिन पहले, कि मेरा पूर्व तीन दिनों से पहले मेरे पास वापस आ जाएगा, उसने दूसरे दिन में जादू और आश्चर्यजनक रूप से डाला, यह लगभग 4 बजे था, मुझे बहुत पहले आश्चर्य हुआ, मैं बहुत हैरान था, मैंने फोन का जवाब दिया और उसने कहा कि वह जो कुछ हुआ उसके लिए खेद है, कि वह मुझे इतना प्यार करता है। मैं बहुत खुश था और तब से उसके पास गया, मैंने वादा किया है कि किसी को पता है कि रिश्ते की समस्या है, मैं उसे एकमात्र असली और शक्तिशाली जादू कैस्टर बनने में मदद करना चाहता हूं जिसने मुझे अपनी समस्या से मदद की और कौन है वहां सभी नकली लोगों से अलग किसी को भी जादू कैस्टर की मदद की आवश्यकता हो सकती है, उसका ईमेल: AKHERETEMPLE@gmail.com
जवाब देंहटाएंया
कॉल / व्हाट्सएप: +2349057261346 अगर आपको अपने रिश्ते या कुछ भी मदद की ज़रूरत है तो आप उसे ईमेल कर सकते हैं। अब तक अपनी सभी समस्याओं के समाधान के लिए संपर्क करें
AKHERETEMPLE@gmail.com
या
कॉल / व्हाट्सएप: +2349057261346
यह ईकारांत पुल्लिंग शब्द है जो पुरुषों में ही सुशोभित हो सकता है। व्याकरण की दृष्टि से पुरुषों में इसे लगाना
जवाब देंहटाएंचाहिये
मेरी दसवीं की मार्कशीट में मेरा नाम MS.MAMTA है। B.Ed की मार्कशीट में मेरा नाम MAMTA है।REET के फोरम मे मैंने अपना नाम MAMTA लिखा है। क्या करना चाहिए
जवाब देंहटाएंमेरी दसवीं की मार्कशीट में मेरा नाम MS.MAMTA है। B.Ed की मार्कशीट में मेरा नाम MAMTA है।REET के फोरम मे मैंने अपना नाम MAMTA लिखा है। क्या करना चाहिए
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