tag:blogger.com,1999:blog-8597911904720918143.post7121011162148648977..comments2024-03-13T17:50:52.287+05:30Comments on क्वचिदन्यतोSपि...: मैकडानेल माल में मियाँ मुहम्मद आजम से मुलाक़ातArvind Mishrahttp://www.blogger.com/profile/02231261732951391013noreply@blogger.comBlogger36125tag:blogger.com,1999:blog-8597911904720918143.post-62793910225376126222011-09-12T09:27:41.678+05:302011-09-12T09:27:41.678+05:30एक अलग सा सुकून देता पोस्ट बढ़िया बन पड़ा है .क्...एक अलग सा सुकून देता पोस्ट बढ़िया बन पड़ा है .क्या कहूँ..?बस सोच रही हूँ ...Amrita Tanmayhttps://www.blogger.com/profile/06785912345168519887noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8597911904720918143.post-11759142894764046792011-09-07T09:09:14.727+05:302011-09-07T09:09:14.727+05:30अब लौटने पर जो टिप्पणियाँ मिलीं वे बड़ी मिली जुली ...अब लौटने पर जो टिप्पणियाँ मिलीं वे बड़ी मिली जुली सी थीं ...नहीं करना चाहिए था यह ..कुछ लोगों ने पेशा बना लिया है ..बच्चों से भीख मंगवाते हैं ..हो न हो वह पाकेटमार रहा हो ..हद है ईद का दिन ..एक नन्हे मियाँ ..हम उन्हें एक सबसे न्यारे और प्यारे त्यौहार पर छोटी सी गिफ्ट न दे सके तो लानत है हमारी मानवीय संवेदना पर ..मैं तो आज उसके चेहरे के संतोष को देखकर अपनी ईद मानो मना ली ...नन्हे मियाँ पूरी तरह नए परिधान और खूबसूरत जूते में नमूदार थे वहां ..मुहल्ले की भीड़ के साथ मैकडानेल में आ गए थे..मगर खलीता तो खाली था सो मायूस से बैठे थे ..बहरहाल अल्लाह मियाँ ने इन नन्हे मियाँ की सुन ली .<br />.<br /><br />आप की यह पंक्तियाँ हमारे समाज की सही तस्वीर दिखा गयीं. आप की महानता को दर्शाता है आप का उस बच्चे की भावनाओं को समझना.S.M.Masoomhttps://www.blogger.com/profile/00229817373609457341noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8597911904720918143.post-33987119945916926652011-09-06T22:58:31.721+05:302011-09-06T22:58:31.721+05:30बस यही यादगार पल ज़िन्दगी को खुशनुमा बना देते हैं....बस यही यादगार पल ज़िन्दगी को खुशनुमा बना देते हैं..मीनाक्षीhttps://www.blogger.com/profile/06278779055250811255noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8597911904720918143.post-26803460658741859932011-09-02T22:43:35.827+05:302011-09-02T22:43:35.827+05:30हाय! अब तो त्योहार के पकवान भी बिदेसी हो गए!!! क...हाय! अब तो त्योहार के पकवान भी बिदेसी हो गए!!! कहां वो शीर-खोर्मा,हलीम और बिरियानी और कहां ये मेडोनॉल्ड के जंक फ़ुड :)चंद्रमौलेश्वर प्रसादhttps://www.blogger.com/profile/08384457680652627343noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8597911904720918143.post-41922493544988339912011-09-02T19:34:07.824+05:302011-09-02T19:34:07.824+05:30चलो अच्छा हुआ,आपने ईद मनाई और 'ईदी' भी दी....चलो अच्छा हुआ,आपने ईद मनाई और 'ईदी' भी दी.<br />दर-असल ,यह नेक काम ईद के दिन ही ठीक था,नहीं तो आजकल 'सुपात्र' को भी 'कुपात्र' की दृष्टि से देखा जाता है,फिर भी,अपने मन को जिसमें संतुष्टि हो,वह काम करना चाहिए!<br />बिना लाग-लपेट के यह भी अनूपजी ठीक कह रहे हैं कि ' नेकी कर,ब्लॉग में डाल'.कम-से-कम इसी बहाने नेकी कर लो भाई !संतोष त्रिवेदीhttps://www.blogger.com/profile/00663828204965018683noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8597911904720918143.post-13374713697635212382011-09-02T18:04:46.598+05:302011-09-02T18:04:46.598+05:30मनभावन पोस्ट.मनभावन पोस्ट.Mirchiya Manchhttps://www.blogger.com/profile/08396618399644760256noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8597911904720918143.post-12036440961400961222011-09-02T12:44:52.247+05:302011-09-02T12:44:52.247+05:30अच्छा किया आपने ...बस एक ही बात अखर रही है कि ईद प...अच्छा किया आपने ...बस एक ही बात अखर रही है कि ईद पर मीठी सेंवई खानी चाहिए थी , पिज्जा- बर्गर तो वर्ष भर खाए जा सकते हैं!वाणी गीतhttps://www.blogger.com/profile/01846470925557893834noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8597911904720918143.post-82056449925589534492011-09-02T11:17:56.447+05:302011-09-02T11:17:56.447+05:30अनुकरणीय है। सार्थक प्रस्तुति।अनुकरणीय है। सार्थक प्रस्तुति।मनोज कुमारhttps://www.blogger.com/profile/08566976083330111264noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8597911904720918143.post-8835042906896141672011-09-02T09:58:49.077+05:302011-09-02T09:58:49.077+05:30मियाँ मुहम्मद आजम के साथ आपको भी ईद की मुबारकबाद!
...मियाँ मुहम्मद आजम के साथ आपको भी ईद की मुबारकबाद!<br /> मन प्रसन्न हुआ!Smart Indianhttps://www.blogger.com/profile/11400222466406727149noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8597911904720918143.post-40466488326402807532011-09-02T08:06:17.732+05:302011-09-02T08:06:17.732+05:30आजम के बहाने खुदा ने आपका ईद मनाने का अवसर दिया। य...आजम के बहाने खुदा ने आपका ईद मनाने का अवसर दिया। यही तो ईद है।देवेन्द्र पाण्डेयhttps://www.blogger.com/profile/07466843806711544757noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8597911904720918143.post-79560047641438731012011-09-02T08:04:52.730+05:302011-09-02T08:04:52.730+05:30ऐसे जिन्न सबको मिलें, ईद मुबारक ।ऐसे जिन्न सबको मिलें, ईद मुबारक ।विवेक रस्तोगीhttps://www.blogger.com/profile/01077993505906607655noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8597911904720918143.post-72200569044044481552011-09-02T04:50:39.174+05:302011-09-02T04:50:39.174+05:30ज़रूर.. आपकी कही बात याद रखी जाएगी.....ज़रूर.. आपकी कही बात याद रखी जाएगी..... डॉ. मोनिका शर्मा https://www.blogger.com/profile/02358462052477907071noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8597911904720918143.post-35928468237887189892011-09-01T21:24:26.813+05:302011-09-01T21:24:26.813+05:30ऐसे मौकों पर मेरी माताजी कहा करती हैं, "उसकी ...ऐसे मौकों पर मेरी माताजी कहा करती हैं, "उसकी करनी उसके आगे, हमारी करनी हमारे आगे"<br /><br />जो भी हो, आपने अच्छा काम किया, मन को सुकून मिला होगा।Neeraj Rohillahttps://www.blogger.com/profile/09102995063546810043noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8597911904720918143.post-28321743321064317092011-09-01T21:03:51.840+05:302011-09-01T21:03:51.840+05:30true... we get very few moments like this in our l...true... we get very few moments like this in our lives :)Jyoti Mishrahttps://www.blogger.com/profile/01794675170127168298noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8597911904720918143.post-33243906385612999152011-09-01T20:32:13.779+05:302011-09-01T20:32:13.779+05:30काफी अच्छा किया आपने.
पिछले दिनों ट्रेनिंग के दौर...काफी अच्छा किया आपने. <br />पिछले दिनों ट्रेनिंग के दौरान कनाट प्लेस में एक मैक्दानेल प्रेमी मित्र के कारण रोज जाना पड़ता था. खाता तो वो था, मगर बाहर एक भिखारी को टैक्स मुझे देना पड़ता था. लगता था मानो ऐसी जगहों पर वो कुछ लोगों की भावनाओं को कैश करने भी खड़े रहते हैं. सभी के साथ ऐसा है यह मैं नहीं कह सकता, मगर ईद पर आजम की ईदी तो बनती ही थी. :-)अभिषेक मिश्रhttps://www.blogger.com/profile/07811268886544203698noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8597911904720918143.post-31083722652381843032011-09-01T18:54:35.936+05:302011-09-01T18:54:35.936+05:30नेकी करते समय यह देखना भी ज़रूरी है कि दान कुपात्र...नेकी करते समय यह देखना भी ज़रूरी है कि दान कुपात्र को तो नहीं कर रहे ।<br /><br />एक बूढ़े भिखारी से मैंने कहा , बाबा<br />आज बायाँ , कल तो दायाँ हाथ बढाया था ।<br />भिखारी बोला , बेटा बूढा हो गया हूँ<br />अब याद नहीं रहता , कल किस हाथ में प्लास्टर चढ़ाया था ।<br /><br />आपकी दरियादिली अपनी जगह सही है अरविन्द जी ।<br />शुभकामनायें ।डॉ टी एस दरालhttps://www.blogger.com/profile/16674553361981740487noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8597911904720918143.post-36789468869400194672011-09-01T16:30:51.348+05:302011-09-01T16:30:51.348+05:30इस तरह से सामने वाले की भावनाओं का ख्याल करते हुए ...इस तरह से सामने वाले की भावनाओं का ख्याल करते हुए आगे बढ़कर उसे यथासंभव खुशी पहुंचाना अनजाने में ही खुद को भी सुकून पहुंचाता है।सतीश पंचमhttps://www.blogger.com/profile/03801837503329198421noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8597911904720918143.post-51579621965663175222011-09-01T16:30:09.619+05:302011-09-01T16:30:09.619+05:30काम की बात: "हम कर सके तो ऐसा करना चाहिए"...काम की बात: "हम कर सके तो ऐसा करना चाहिए"Abhishek Ojhahttps://www.blogger.com/profile/12513762898738044716noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8597911904720918143.post-53253754125832117882011-09-01T15:13:12.284+05:302011-09-01T15:13:12.284+05:30डा.साब जी आप की इस प्रकार की शख्शियत के तो हम पह...डा.साब जी आप की इस प्रकार की शख्शियत के तो हम पहले से ही दीवाने हैं <br />ब्लॉग जगत मे आप का नन्हे मिया यानी कि मै आप से बिना फ़रियाद किये बहुत कुछ पा गया. <br />आपका धन्यवाद ....Darshan Lal Bawejahttps://www.blogger.com/profile/10949400799195504029noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8597911904720918143.post-37767503015032541292011-09-01T12:20:46.402+05:302011-09-01T12:20:46.402+05:30सुन्दर शिक्षा . गणेशोत्सव पर हार्दिक शुभकामनाएँ .सुन्दर शिक्षा . गणेशोत्सव पर हार्दिक शुभकामनाएँ .Anonymoushttps://www.blogger.com/profile/14612724763281042484noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8597911904720918143.post-85008423437888250452011-09-01T11:39:28.009+05:302011-09-01T11:39:28.009+05:30मोहम्मद आज़म के कितने ही रूप हैं ,उपकृत सचमुच दाता...मोहम्मद आज़म के कितने ही रूप हैं ,उपकृत सचमुच दाता होता है .हम पंजाब यूनिवर्सिटी परिसर में गत दिनों बेटी के साथ शाम की सैर पर थे जो नजदीकी सेकटर १५ डी में रिहाइश बनाए हुई थी ,उमस और घोट ने हमें बे- तरह थका दिया था .महीन चीनी स्टाइल गले वाला एक दम से हल्का टी शर्ट भी पसीने में कमर से चिपक गया था .रिक्शे वाला हमारे नजदीक से गुजरा हमने उसे पुकारा-रिक्शा ! और बैठ गए ,बेटी कहने लगी -दस रूपये देंगें भैया ,पास ही तो है मार्किट में ही तो हम उतर जायेंगें .वह बीस मांग रहा था ,जो हमें एक दम से वाजिब क्या कम ही लगा ,भारीभरकम हम अस्सी किलो के और बिटियाभी बाप की बेटी सी .खैर पहुंच गए मार्किट जूस वाले की दूकान पर रिक्शा रुकवाया ,हमारे पास पांच सौ का नोट था सो झट उतरकर नोट दूकान दार को पकडाया और उससे बीस रूपये और एक ग्लास मेंगोशेक कब्जाया ,दो ग्लास का ऑर्डर और किया ,हमारे हाथ में बीस रूपये और मेंगो शेक का ग्लास था जो हमने उसे थमाते हुए कहा , पानी पियो तो हम बोतल लायें पानी की ?<br />वह सहमा हुआ था .पसीने से तरबतर ,गैर यकीनी के साथ उसने ग्लास थामा .और चुपचाप खाली करके शांत भाव से चला गया .जब तक हम उसका नाम पूछे वह जा चुका था .जोर का झटका लगा चेतना को -क्या रिक्शे वाले का भी कोई नाम होता है ?हम बुलातें हैं उसे -रिक्शा! रिक्शा !.उसके चेहरे का वह अविश्वासी भाव ,हतप्रभ होना उसका हमें अब भी याद है .<br />आज़म भाई ने वह प्रसंग ताज़ा कर दिया .लेकिन एक फर्क है उस खुद्दार ने कहा था नहीं बाबूजी हम नहीं पियेंगें ,हमने उसके गाल लाड से खींचे थे और ग्लास उसे थमा दिया था .उसकी आँखें विस्फारित थीं .और हम सुख से भर गये थे .virendra sharmahttps://www.blogger.com/profile/02192395730821008281noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8597911904720918143.post-61759797090413946502011-09-01T09:09:47.301+05:302011-09-01T09:09:47.301+05:30करोड़ों बदहाल बच्चे , बर्बाद नस्लें ! किसे फ़िक्र ...करोड़ों बदहाल बच्चे , बर्बाद नस्लें ! किसे फ़िक्र है ?<br />सरकारें बनती और बिगड़ती हैं फिर चन्द लोग आबाद बने रहते हैं !<br /><br /><br />इस प्रकरण में आपका एटीट्यूड सही है जो ईश्वर की कृपा को आपने ईश्वर में बाँट दिया !उम्मतेंhttps://www.blogger.com/profile/11664798385096309812noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8597911904720918143.post-7204458987510587452011-09-01T07:41:01.543+05:302011-09-01T07:41:01.543+05:30@जयकृष्ण भाई ,
अब तो शर्मिंदा कर रहे हैं :)@जयकृष्ण भाई ,<br />अब तो शर्मिंदा कर रहे हैं :)Arvind Mishrahttps://www.blogger.com/profile/02231261732951391013noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8597911904720918143.post-62638185825221261482011-09-01T07:37:51.841+05:302011-09-01T07:37:51.841+05:30एक कवि हृदय और लेखक ही ऐसा उत्कृष्ट कार्य क्र सकता...एक कवि हृदय और लेखक ही ऐसा उत्कृष्ट कार्य क्र सकता है |आपको बधाई सर हमें आप पर गर्व है |जयकृष्ण राय तुषारhttps://www.blogger.com/profile/09427474313259230433noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8597911904720918143.post-8081924936380718452011-09-01T07:19:40.463+05:302011-09-01T07:19:40.463+05:30यह वाकई अनुकरणीय है,इसे तो सदा जारी रखना चाहिए.यह वाकई अनुकरणीय है,इसे तो सदा जारी रखना चाहिए.डॉ. मनोज मिश्रhttps://www.blogger.com/profile/07989374080125146202noreply@blogger.com