tag:blogger.com,1999:blog-8597911904720918143.post2686608557104193631..comments2024-03-13T17:50:52.287+05:30Comments on क्वचिदन्यतोSपि...: सनी लियोन के बहाने बदलती भारतीय यौनिकता पर एक बहस(A)..Arvind Mishrahttp://www.blogger.com/profile/02231261732951391013noreply@blogger.comBlogger41125tag:blogger.com,1999:blog-8597911904720918143.post-5160029880746688802017-08-29T16:04:31.279+05:302017-08-29T16:04:31.279+05:30nude hot pornstar<a href="http://blowjobrocks.com/" rel="nofollow"><br /> nude hot pornstar<br /><br /> </a><br />Anonymousnoreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8597911904720918143.post-60593167413636823962017-05-04T16:51:34.090+05:302017-05-04T16:51:34.090+05:30यौन शिक्षा के प्रस्तुतीकरण पर बहस आज पूरे भारत में...यौन शिक्षा के प्रस्तुतीकरण पर बहस आज पूरे भारत में हो रही है लेकिन टीवी इस मामले में कुछ ज्यादा ही आगे चल रहा है युवाओं और वृद्धों के सन्दर्भ में इसे किसी प्रकार से स्वीकार कर सकते हैं लेकिन जब कोमल मन वाले बच्चों के जीवन की आती है तो इस प्रकार का कृत्य किसी भयानक खिलवाड़ से कम नहीं है जीवनसूत्रhttp://www.jivansutra.comnoreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8597911904720918143.post-69120710644976059452011-11-26T23:59:54.846+05:302011-11-26T23:59:54.846+05:30टी वी एक पारिवारिक परिवेश का अंग है और यहाँ ऐसे शो...टी वी एक पारिवारिक परिवेश का अंग है और यहाँ ऐसे शो स्वीकार्य नहीं हो सकते ...जहां उन्मुक्त यौन सबंध की पक्षधर, उसकी एक ब्रैंड अम्बेसडर सामने हो और रियल्टी शो में जम कर भागीदारी कर रही हो <br />सत्य. यह एक कुत्सित प्रयास है.संतोष पाण्डेयhttps://www.blogger.com/profile/06184746764857353641noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8597911904720918143.post-17633308171066286032011-11-26T22:41:08.445+05:302011-11-26T22:41:08.445+05:30.
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भाग (A) पढ़ा, B व C भी पढ़ने के बाद एकसाथ ही....<br />.<br />.<br />भाग (A) पढ़ा, B व C भी पढ़ने के बाद एकसाथ ही कुछ कहना सही होगा... :)<br /><br /><br />...प्रवीण https://www.blogger.com/profile/14904134587958367033noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8597911904720918143.post-39056229383978839142011-11-25T11:45:03.002+05:302011-11-25T11:45:03.002+05:30आभार आप सभी सुधी जनों का इस विषय पर अपने विचार व्य...आभार आप सभी सुधी जनों का इस विषय पर अपने विचार व्यक्त करने का ..<br />निष्कर्षतः मनुष्य -होमो सेपिएन्स के निजी एवं सामाजिक व्यवहार अलग होते हैं और जीने के मानदंड भी ..और यह हर देशकाल में सामयिक और स्थानिक बदलावों के साथ अपनी मौजूदगी दर्ज कराता रहता है ....सनी लियोन की निजता और उनसे आनंदित होने वालों की निजता पर यहाँ प्रश्न चिह्न नहीं है मगर देह व्यापार के एक आईकन को सार्वजनिक मंच पर अभिनंदित करना ज़ाहिर हैं भृकुटियों में संकुचन लाएगा!<br />कुछ लोगों को आपत्ति है मैंने यहाँ पोर्न लिंक दिए हैं -मैंने केवल सनी लियोन आफिसियल वेबसाईट का लिंक जानबूझ कर दिया है ...क्योकि जिस शख्स पर पूरी पोस्ट है उसे और परिप्रेक्ष्यों को समझने में आत्मसात करने में वह मुझे जरुरी लगा और मैं दो चेहरे रखने की कोई कोशिश नहीं करता -मेरा चेहरा इतना घिनौना भी नहीं है कि ऐसी कोई नापाक कोशिश की जाय ....आप सभी को पुनः धन्यवाद आभार !Arvind Mishrahttps://www.blogger.com/profile/02231261732951391013noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8597911904720918143.post-91978375940120009842011-11-25T09:11:28.102+05:302011-11-25T09:11:28.102+05:30कल्पना कीजिये कि दर्शक एक बारात ,लियोन एक नर्तकी औ...कल्पना कीजिये कि दर्शक एक बारात ,लियोन एक नर्तकी और बिग बाज़ार एक शातिर दल्ला है जिसने अपने ग्राहकों की अभिरुचि और लियोन की व्यावसायिकता अथवा मजबूरी को बखूबी पहचाना है !<br />...भयानक कल्पना है।देवेन्द्र पाण्डेयhttps://www.blogger.com/profile/07466843806711544757noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8597911904720918143.post-76305857913899373222011-11-24T20:13:10.794+05:302011-11-24T20:13:10.794+05:30पंडित जी!पोस्ट पढ़ी और पोस्ट के बराबर टिप्पणी भी!! ...पंडित जी!पोस्ट पढ़ी और पोस्ट के बराबर टिप्पणी भी!! बचा कहाँ कुछ कहने को!!चला बिहारी ब्लॉगर बननेhttps://www.blogger.com/profile/05849469885059634620noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8597911904720918143.post-14275202352692596342011-11-24T17:29:25.172+05:302011-11-24T17:29:25.172+05:30@ अरविन्द जी ,
मैंने कहा ना कि यौन नैतिकता एक महती...@ अरविन्द जी ,<br />मैंने कहा ना कि यौन नैतिकता एक महती विषय है इसलिए उसे अपने आप में हेतु होना चाहिए ! हमें इस पर चर्चा करने के लिए बिग बॉस की शरण में जाने की आवश्यकता नहीं है बहरहाल उस वणिक को मालूम है कि उसके दर्शकों को क्या प्रिय है :)उम्मतेंhttps://www.blogger.com/profile/11664798385096309812noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8597911904720918143.post-70219377879876483032011-11-24T16:52:05.105+05:302011-11-24T16:52:05.105+05:30भाई साहब नग्नता -वाद एक फाशन स्टेटमेंट सा चल पड़ा ...भाई साहब नग्नता -वाद एक फाशन स्टेटमेंट सा चल पड़ा है इस या उस मिस नैतिकता पृष्ठभूमी में खिसक रही है .किसे रोकियेगा .फिल्मों में तमाम गीतों में मैथुनी मुद्राओं का ही जोर रहता है .संकेत ज्यादा डेमेजिंग होकर लुभाते ललचाते हैं .बहरसूरत बिग बोस अपने आप में एक विकृति है केम्प कल्चर का सामाजिकरण हैं .लुच्चाई को लड़ाई का रूप देने का उपक्रम है .virendra sharmahttps://www.blogger.com/profile/02192395730821008281noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8597911904720918143.post-62510052800573990512011-11-24T12:08:51.516+05:302011-11-24T12:08:51.516+05:30हर तरह के लोगों के लिए हर परकार के प्रोग्राम हैं.....हर तरह के लोगों के लिए हर परकार के प्रोग्राम हैं.... टीवी पर.<br /><br /><br />बाकि नैतिकता और शुद्धतावादी वगैरह वगैरह ... ये शब्द आज के बाजारवाद में मायने नहीं रखते.दीपक बाबाhttps://www.blogger.com/profile/14225710037311600528noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8597911904720918143.post-506766312269895102011-11-24T09:41:57.587+05:302011-11-24T09:41:57.587+05:30बिग बौस के घर की खबरें तो इसी ब्लॉग से ही ज्यादा स...बिग बौस के घर की खबरें तो इसी ब्लॉग से ही ज्यादा सटीक मिलती हैं. अपने यहाँ इन साइट्स के विजिटर्स की गिनती किसी पश्चिमी देश से कम नहीं होगी, मगर नैतिकता का आवरण भी है. विजय आनंद के सुझावों के हश्र की याद तो होगी ही.अभिषेक मिश्रhttps://www.blogger.com/profile/07811268886544203698noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8597911904720918143.post-67543263742740662012011-11-24T09:40:16.976+05:302011-11-24T09:40:16.976+05:30@ किसी भी कार्य बर्ताव के लिए कोई हेतु होता है -अब...@ किसी भी कार्य बर्ताव के लिए कोई हेतु होता है -अब आपको यह हेतु डूब मरने जैसी बात की और ले जाती है यह तो हैरानी की बात है ....मेरी समझ से अली साब ने इस चर्चा को करने के लिए नहीं,बल्कि 'बिग-बॉस' जैसे भोंडे कार्यक्रम इस चर्चा के हेतु बनें,इस पर डूब मरने जैसी स्थिति का आकलन किया है.<br />बाकी ,अली साब के अधिकतर निष्कर्ष ठीक ही लगते हैं !संतोष त्रिवेदीhttps://www.blogger.com/profile/00663828204965018683noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8597911904720918143.post-79488280803442629882011-11-24T09:13:33.268+05:302011-11-24T09:13:33.268+05:30@फिलहाल एक छोटी सी टिप्पणी कर एक अभियान पर निकल र...@फिलहाल एक छोटी सी टिप्पणी कर एक अभियान पर निकल रहा हूँ ..वापस आने चर्चा आगे बढ़ायी जायेगी ....माडरेशन आन है भाई लोग मौका ताड़ ब्लू फिल्मों/वीडिओ का लिंक भेजने लगे थे -<br /><br />अली भाई किसी भी कार्य बर्ताव के लिए कोई हेतु होता है -अब आपको यह हेतु डूब मरने जैसी बात की और ले जाती है यह तो हैरानी की बात है ..बाकी आगे ....Arvind Mishrahttps://www.blogger.com/profile/02231261732951391013noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8597911904720918143.post-85348302281334519312011-11-24T09:00:02.090+05:302011-11-24T09:00:02.090+05:30@ अरविन्द जी ,
यौन नैतिकता एक महती विषय है पर इसपे...@ अरविन्द जी ,<br />यौन नैतिकता एक महती विषय है पर इसपे चर्चा बिग बॉस की वजह से करना पड़े यह डूब मरने की बात है ! वह एक विशुद्ध व्यावसायिक आयोजन है और अन्ततः वेश्यावृत्ति भी एक व्यवसाय ही है तो फिर व्यवसायों के नंगपन में नैतिकता को खोजना कितना उचित है ?<br /><br />निज हित में कानूनी बारीकियों का लाभ अमेरिकन्स भी उठाते हैं और हम भी , दुनिया के सारे समाजों में यही होता है कि नियंत्रण की व्यवस्था को चुनौती दिए बगैर स्वयं का स्वार्थ कैसे सिद्ध किया जाये !<br /><br />अगर आपको बिग बॉस देखने में कोई आपत्ति नहीं है तो लियोन की मौजूदगी से क्या फ़र्क पड़ता है ,उसे पालकी में बिठा कर लाते वक़्त पौरुष के आल्हाद / उमंग का जो ड्रामा रचा गया क्या सच में वो ड्रामा ही है या फिर हममें से ज्यादातर मर्द 'काम' को लेकर इतने ही उल्लसित होते हैं ? निश्चय ही यह स्व विवेचना का विषय है !<br /><br />पता नहीं कि लियोन शौक से इस व्यवसाय में है या उसकी कोई मजबूरी है ,पर यह बात अचंभित करती है कि वह अपने व्यवसाय को अभिनय और कला की श्रेणी में डालती है ! भारतीय दर्शकों के सम्मुख खुद के परिचय को वो कितने ग्रेसफुल तरीके से प्रस्तुत करती है ! बिग बॉस में उसकी हिस्सेदारी उसका वाणिज्यिक कर्म है सो वह मेरी हिट लिस्ट में नहीं है ! बिग बॉस मूलतः पश्चिम की भोंडी नक़ल है पर वे दर्शक कौन हैं जिन पर बिग बॉस इतना भरोसा कर सकता है कि लियोन को लाने से उसकी टीआरपी बढ़ने वाली है आर्थिक हित सधने वाले हैं निश्चय ही ये दर्शक जिन्हें बिग बॉस पहचानता है मेरी हिट लिस्ट में हैं क्योंकि वे यौन नैतिकता बनाम भारतीय मर्द की बहस में पाखंड के प्रतीक हैं उन्हें अपनी स्त्रियों और देहव्यापार में लिप्त स्त्रियों को समय समय पर अपनी रूचि के अनुसार वापरने में जो आनंद आता है वे ही भारतीय पुरुष प्रश्नाधीन माने जायें !<br /><br />बिग बॉस में लियोन की आमद मुझे भारतीय शादियों / उत्सवों / आयोजनों में बुलाई गई तवाइफों से भिन्न नहीं लगती ! दोनों ही जगहों पर हम देहव्यापार में लिप्त स्त्रियों के एक विशिष्ट चयन से आनंदित होने का यत्न करते हैं !<br /><br />अब प्रश्न यह है कि शादियों में तवाइफों और बिग बॉस में लियोन की उपस्थति में उनके अर्थोपार्जन और मर्दों के आनंद का साम्य है कि नहीं ! निसंदेह शादियों में भी देहव्यापार लीन स्त्रियों को प्रस्तुत करने वाले कुछ दल्ले भी होते होंगे जिनके आर्थिक हित उन्हें दोनों पक्षों में समन्वय कराने /यथावांछित परोसने की प्रेरणा देते होंगे ! कल्पना कीजिये कि दर्शक एक बारात ,लियोन एक नर्तकी और बिग बाज़ार एक शातिर दल्ला है जिसने अपने ग्राहकों की अभिरुचि और लियोन की व्यावसायिकता अथवा मजबूरी को बखूबी पहचाना है !<br /><br /><br />( टाइप करते करते हांफ गया हूं पर बात खत्म होते नहीं दिखती अगर संभव हुआ तो फिर से आउंगा वर्ना इसे ही मेरी प्रतिक्रिया मान लीजियेगा )उम्मतेंhttps://www.blogger.com/profile/11664798385096309812noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8597911904720918143.post-57142648828494297472011-11-23T22:40:05.892+05:302011-11-23T22:40:05.892+05:30आररणीय अरविन्द जी
बहुत ही सार्थक बहस छेडी है आपने...आररणीय अरविन्द जी <br />बहुत ही सार्थक बहस छेडी है आपने परन्तु श्री चन्द्रमौलेश्वर प्रसाद जी की के टिप्पणी के जबाब में आपकी टिप्पणी को ही उद्धृत करना चाहूंगा <br /><br />अब पुरुरवा और विश्वामित्र का कोई दोष थोड़े ही न था<br /> मनुष्य पृकृति की मूलभूत सिद्वांतों के आगे विवश होता हैअशोक कुमार शुक्लाhttps://www.blogger.com/profile/00322447925425282794noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8597911904720918143.post-43844252595626280772011-11-23T22:15:39.919+05:302011-11-23T22:15:39.919+05:30आम दर्शक के पसंद का भरोसा है उन्हें.आम दर्शक के पसंद का भरोसा है उन्हें.Rahul Singhhttps://www.blogger.com/profile/16364670995288781667noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8597911904720918143.post-14118168646021278252011-11-23T21:58:19.532+05:302011-11-23T21:58:19.532+05:30दर्शकों को जागरूक होने की ज़रूरत है , विचारणीय पोस...दर्शकों को जागरूक होने की ज़रूरत है , विचारणीय पोस्टSunil Kumarhttps://www.blogger.com/profile/10008214961660110536noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8597911904720918143.post-2320897481934810672011-11-23T21:40:10.879+05:302011-11-23T21:40:10.879+05:30धन्यवाद बड़े बॉस जी को, उनके कारण हमें भी ऐसी महान ...धन्यवाद बड़े बॉस जी को, उनके कारण हमें भी ऐसी महान भारतीय महिला के बारे में पता चला।ePandithttps://www.blogger.com/profile/15264688244278112743noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8597911904720918143.post-24857420799352339072011-11-23T21:25:47.484+05:302011-11-23T21:25:47.484+05:30@चंद्रमौलेश्वर प्रसाद,
क्या हो गया सर, क्या हो ग...@चंद्रमौलेश्वर प्रसाद,<br />क्या हो गया सर, क्या हो गया? सारी सर वेरी वेरी सारी सर !मगर कहीं भी कोई दोष आपका नहीं सर -अब पुरुरवा और विश्वामित्र का कोई दोष थोड़े ही न था :)Arvind Mishrahttps://www.blogger.com/profile/02231261732951391013noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8597911904720918143.post-16998252266944755982011-11-23T21:15:06.221+05:302011-11-23T21:15:06.221+05:30हम ने आपका आदेश नहीं माना ..... और हो गई न गडबड :)...हम ने आपका आदेश नहीं माना ..... और हो गई न गडबड :)चंद्रमौलेश्वर प्रसादhttps://www.blogger.com/profile/08384457680652627343noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8597911904720918143.post-13689724681980802292011-11-23T18:28:01.408+05:302011-11-23T18:28:01.408+05:30मैं ये बेहूदा सीरियल कभी भी नहीं देखतामैं ये बेहूदा सीरियल कभी भी नहीं देखतागंगेश रावhttps://www.blogger.com/profile/10791109109633152718noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8597911904720918143.post-77468526038797061122011-11-23T18:12:08.041+05:302011-11-23T18:12:08.041+05:30राम राम राम --राधे राधे राधे ---कृष्ण कृष्ण कृष्ण ...राम राम राम --राधे राधे राधे ---कृष्ण कृष्ण कृष्ण !<br />पंडित जी , लिंक्स तो आज ही देखे ।<br />काहे धर्म भ्रष्ट कराते हैं भाई जी । :)डॉ टी एस दरालhttps://www.blogger.com/profile/16674553361981740487noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8597911904720918143.post-20145954909119598072011-11-23T16:36:56.939+05:302011-11-23T16:36:56.939+05:30बढ़िया पोस्ट.
शायद बिगबॉस वालों ने बैलेंस बनाने ...बढ़िया पोस्ट. <br /><br />शायद बिगबॉस वालों ने बैलेंस बनाने की कोशिश की है. पिछले हफ़्तों में स्वामी जी थे वहां. ऐसे में चीज़ों को नॉर्मल बनाने के लिए शायद सनी लियोन को ले आये. <br /><br />वैसे करीब बीस दिन पहले याहू पर एक वीडियो का लिंक था जिसमें दिखाया गया था एक पुरुष प्रतियोगी एक महिला प्रतियोगी के बारे में ऐसी बातें करता रहा जिनको अगर सत्य माना जाय तो फिर सनी लियोन उस महिला प्रतियोगी के आगे कुछ भी नहीं. <br /><br />सबकुछ सब्जेक्टिव है शायद.Shivhttps://www.blogger.com/profile/05417015864879214280noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8597911904720918143.post-88002977910927823062011-11-23T16:15:20.624+05:302011-11-23T16:15:20.624+05:30हम तो ये देखते ही नही फिर भी शिखा जी से सहमत ………आख...हम तो ये देखते ही नही फिर भी शिखा जी से सहमत ………आखिर कब तक अश्लीलता से दर्शक जोडेंगे??कभी तो दर्शकों को अक्ल आएगी.vandana guptahttps://www.blogger.com/profile/00019337362157598975noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8597911904720918143.post-15198868056111925792011-11-23T15:05:10.377+05:302011-11-23T15:05:10.377+05:30Arvind ji..
Aaj pahli baar aapke blog ka padaparn...Arvind ji..<br /><br />Aaj pahli baar aapke blog ka padaparn kiya hai..aur sarvpratham hi mujhe aisa rahasyodghatan hua..haalanki main ye show nahi dekhtaa par channel badaltr hue kabhi kabhi eske ru-b-ru ho chuka hun..mujhe to ye bewakoofi ka show lagta hai..jaane kahan kahan se logon ko ekatha karke bhanmati ka kunba jod liya hai aur duniya ko utpatang dikha kar nirmata sochte hain ki wo logon ko kheench payenge.<br /><br />Ab jab aap rahasyon ko es prakaar ujaagar karne main mahir hain to lagta hai aapke science blog bhi padhne hi padenge..kyonki vigyan to rahasyon ka mahasagar hai..<br /><br />Dhanyawad humari jaankari badhane ke liye..<br /><br />Deepak Shukla..Deepak Shuklahttps://www.blogger.com/profile/02437731202200979518noreply@blogger.com